ज़ेनेर डायोड को
वोल्टेज रिफरेन्स, वोल्टेज रेगुलेटर या ब्रेकडाउन डायोड भी कहा जाता है| यह भी एक
प्रकार का सिलिकॉन डायोड होता है जो पश्च अभिनिती में कार्य करता है| यदि हम इसका
उपयोग अग्र अभिनिती में करते है तो यह सामान्य PN संधि डायोड की तरह कार्य करता
है| इसमें डोपिंग की मात्रा सामान्य डायोड की तुलना में अधिक होती है| तथा
ब्रेकडाउन वोल्टेज का मान, इसके निर्माण के समय डोपिंग की मात्रा से निर्धारित किया
जाता है| चूँकि डोपिंग की मात्र अधिक होती है अत: इसमें अवक्षय परत (depletion layer) की चौड़ाई
सामान्य डायोड से कम होती है| ज़ेनेर डायोड में डोपिंग का अनुपात 1:104 होता है| इसे निम्न प्रतिक द्वारा दर्शाया जाता
है|
जब पश्च अभिनिती
विभव के द्वारा उत्पन्न इलेक्ट्रिक फिल्ड का मान अधिक हो जाता है तब ज़ेनेर
ब्रेकडाउन होता है| इस इलेक्ट्रिक फिल्ड के कारण अणुओं के बाह्यतम कक्षा के
इलेक्ट्रॉन्स अपनी कक्षा को छोड़ देते है और अणु आयन में परिवर्तित हो जाते है| और
अधिक मात्रा में इलेक्ट्रॉन्स फ्री हो जाते है जिसके कारण धारा का मान बढ़ जाता है|
सामान्यत: ज़ेनेर
ब्रेकडाउन हमें तब मिलाता है जब पश्च अभिनिती विभव का मान 6 V से कम होता है, और 6 V के बाद मिलने वाले
ब्रेकडाउन को एवालंची ब्रेकडाउन कहते है|
ज़ेनेर अभिलाक्ष्णिक
आरेख
चुकी हम जानते है
की ज़ेनेर एक स्पेशल पर्पस डायोड है जिसे हम पश्च अभिनिती में उपयोग करते है| इसलिए
हमने इसके पश्च अभिनिती आरेख का ही अवलोकन किया है| निचे दिये गए चित्र में ज़ेनेर
डायोड का विभव धारा आरेख प्रदर्शीय है|
विभव Voltage (V) से तथा
धारा को current (I) से निरुपित किया है| जैसे जैसे हम विभव का मान 0 से बढ़ाते है धारा का मान बहुत कम मात्र में
बढ़ता है| किन्तु विभव के एक मान (Breakdown voltage) के लिए धारा का मान अचानक से बढ़ जाता है इस मान
को Breakdown voltage कहा जाता है| इस विभव के बाद विभव
बढ़ने पर धारा का मान बढ़ता है पर विभव के मान में कोई परिवेर्तन नहीं होता| इस विभव
को ही ज़ेनेर ब्रेकडाउन वोल्टेज कहा जाता है
अनुप्रयोग:
- वोल्टेज रेगुलेटर
- ट्रांजिस्टर बाईसिंग
- Waveshaping सर्किट में etc
Refference:
[1] R.S. Sedha, "A Textbook of Applied Electronics".
[2] J.B. Gupta,
[3] https://engineeringtutorial.com/wp-content/uploads/2016/07/engineeringtutorial.com_zener-diode-symbol.png
[4] https://www.electronicshub.org/wp-content/uploads/2015/01/3.-I-V-characteristics-of-Zener-Diode.jpg